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गर्भनिरोधक गोलियां भ्रांतियां और सच्चाई Garbnnirodhak goliyan bhantiya aur sachchai
गर्भनिरोधक गोलियों की भ्रांतियां और सच्चाई Garbnnirodhak goliyon ki
bhantiya aur sachchai, Myths and reality of birth control pills. nukshan
aur fayde. जानिए, गर्भनिरोधक गोलियों से जुड़े मिथक और उनकी सच्चाई. गर्भनिरोधक गोलियों से हानि. Common Myths About Birth Control in Hindi. महिलाओं की सखी हैं गर्भनिरोधक गोलियां. संभोग के दौरान गर्भ ना ठहरने से रोकने में इस्तेमाल होने वाली गर्भनिरोधक गोलियों के बारे में कुछ लोगों के विचार.
गर्भनिरोधक गोलियां महिलाओं को गर्भ ठहरने की चिंता से मुक्त करती हैं, इसके बावजूद महिलाएं इसके लिए किसी डॉक्टर की सलाह की जगह आस-पड़ोस की महिलाओं, सहेलियों या फिर पत्र-पत्रिकाओं से जुटाई जानकारी के आधार पर इसका इस्तेमाल करती हैं।
गर्भनिरोधक गोलियां महिलाओं को गर्भ ठहरने की चिंता से मुक्त करती हैं, इसके बावजूद महिलाएं इसके लिए किसी डॉक्टर की सलाह की जगह आस-पड़ोस की महिलाओं, सहेलियों या फिर पत्र-पत्रिकाओं से जुटाई जानकारी के आधार पर इसका इस्तेमाल करती हैं।
इसे खाने से लेकर इसे छोड़ने तक महिलाएं अनियमितता
बरतती हैं। इसकी वजह से कई बार अनचाहा गर्भ ठहर जाता है तो कई बार अन्य
तरह की समस्याएं उत्पन्न हो जाती हैं। यही वजह है कि गर्भनिरोध गोलियों
को लेकर तरह-तरह की भ्रांति महिलाओं के बीच देखने को मिलती है। आइए इनसे
जुड़ी भ्रांतियों और सच्चाई पर एक नजर डालते हैं।
भ्रांति- गर्भ निरोधक गोलियों से वजन बढ़ता है।
सच्चाई-गोलियां खाने के शुरुआती दिनों में इस तरह की समस्या आती है।
भ्रांति- इसे लेने से उल्टियां होती हैं।
सच्चाई- रात को सोते समय गोली खाएं तो ऐसा नहीं होगा।
भ्रांति- 35 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाओं को ये गोलियां सूट नहीं होती।
सच्चाई- यदि महिलाओं को उच्च रक्तचाप व दिल की बीमारी न हो तो 35 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाएं इसे आराम से ले सकती हैं।
भ्रांति-गोलियां खाने से स्तन का दूध कम हो जाता है और स्तनपान करने वाले बच्चे इसका विपरीत असर पड़ता है।
सच्चाई- पुरानी गोलियों में यह समस्या थी, लेकिन नई पीढी की आधुनिक गोलियों में यह समस्या नहीं है।
भ्रांति- गर्भनिरोधक गोलियों को खाने से कई तरह के कैंसर होते हैं।
सच्चाई-गर्भनिरोधक गोलियों को खाने से ओवरी व एंडोमेट्रियम के कैंसर की आशंका 50 फीसदी तक कम हो जाती है।
भ्रांति- इन गोलियों के सेवन से दिल का दौरा पड़ना, स्ट्रोक व थ्रांबोसिस हो सकता है।
सच्चाई- नई पीढ़ी की गोली से यह खतरा नहीं के बराबर रह गया है। लेकिन उच्च रक्तचाप, दिल की बीमारियां, मोटापे से ग्रस्त महिलाओं को इसका सेवन सोच-समझकर एवं अपने डॉक्टर की सलाह लेकर ही करें।
भ्रांति- इससे बांझपन बढ़ता है। बच्चा पैदा होतो उसमें कई विकृतियां रह जाती हैं।
सच्चाई- यह सही नहीं है। गोलियां बंद करने के तीन महीने बाद अधिकांश महिलाएं गर्भ धारण कर लेती हैं। यदि गर्भावस्था के आरंभिक दिनों में गलती से गोली ले भी लें तो गर्भस्थ शिशु में कोई जन्मजात विकृतियां उत्पन्न नहीं होती हैं।
भ्रांति- इससे यौन संबंधों पर विपरीत असर पड़ता है।
सच्चाई- ऐसा कोई असर नहीं पड़ता है।
भ्रांति- इससे एचआईवी संक्रमण रोका जा सकता है।
सच्चाई-यह किसी भी तरह की यौन बीमारियों के संचरण को रोकने में कोई मदद नहीं करता है ।
Thanks for reading...
Tags: गर्भनिरोधक गोलियों की भ्रांतियां और सच्चाई Garbnnirodhak goliyon ki bhantiya aur sachchai, Myths and reality of birth control pills. nukshan aur fayde. जानिए, गर्भनिरोधक गोलियों से जुड़े मिथक और उनकी सच्चाई. गर्भनिरोधक गोलियों से हानि. Common Myths About Birth Control in Hindi. महिलाओं की सखी हैं गर्भनिरोधक गोलियां. संभोग के दौरान गर्भ ना ठहरने से रोकने में इस्तेमाल होने वाली गर्भनिरोधक गोलियों के बारे में कुछ लोगों के विचार.
भ्रांति- गर्भ निरोधक गोलियों से वजन बढ़ता है।
सच्चाई-गोलियां खाने के शुरुआती दिनों में इस तरह की समस्या आती है।
भ्रांति- इसे लेने से उल्टियां होती हैं।
सच्चाई- रात को सोते समय गोली खाएं तो ऐसा नहीं होगा।
भ्रांति- 35 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाओं को ये गोलियां सूट नहीं होती।
सच्चाई- यदि महिलाओं को उच्च रक्तचाप व दिल की बीमारी न हो तो 35 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाएं इसे आराम से ले सकती हैं।
भ्रांति-गोलियां खाने से स्तन का दूध कम हो जाता है और स्तनपान करने वाले बच्चे इसका विपरीत असर पड़ता है।
सच्चाई- पुरानी गोलियों में यह समस्या थी, लेकिन नई पीढी की आधुनिक गोलियों में यह समस्या नहीं है।
भ्रांति- गर्भनिरोधक गोलियों को खाने से कई तरह के कैंसर होते हैं।
सच्चाई-गर्भनिरोधक गोलियों को खाने से ओवरी व एंडोमेट्रियम के कैंसर की आशंका 50 फीसदी तक कम हो जाती है।
भ्रांति- इन गोलियों के सेवन से दिल का दौरा पड़ना, स्ट्रोक व थ्रांबोसिस हो सकता है।
सच्चाई- नई पीढ़ी की गोली से यह खतरा नहीं के बराबर रह गया है। लेकिन उच्च रक्तचाप, दिल की बीमारियां, मोटापे से ग्रस्त महिलाओं को इसका सेवन सोच-समझकर एवं अपने डॉक्टर की सलाह लेकर ही करें।
भ्रांति- इससे बांझपन बढ़ता है। बच्चा पैदा होतो उसमें कई विकृतियां रह जाती हैं।
सच्चाई- यह सही नहीं है। गोलियां बंद करने के तीन महीने बाद अधिकांश महिलाएं गर्भ धारण कर लेती हैं। यदि गर्भावस्था के आरंभिक दिनों में गलती से गोली ले भी लें तो गर्भस्थ शिशु में कोई जन्मजात विकृतियां उत्पन्न नहीं होती हैं।
भ्रांति- इससे यौन संबंधों पर विपरीत असर पड़ता है।
सच्चाई- ऐसा कोई असर नहीं पड़ता है।
भ्रांति- इससे एचआईवी संक्रमण रोका जा सकता है।
सच्चाई-यह किसी भी तरह की यौन बीमारियों के संचरण को रोकने में कोई मदद नहीं करता है ।
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